सूफीलैंड जर्मनी के शैख़ सूफी एशरफ आफंदी ने अपने प्रतिनिधि मंडल के साथ शिरकत की। अजमेर शरीफ (दिसंबर 22, 2022) आल इंडिया उलमा व् मशाइख बोर्ड, वर्
सूफीलैंड जर्मनी के शैख़ सूफी एशरफ आफंदी ने अपने प्रतिनिधि मंडल के साथ शिरकत की।
अजमेर शरीफ (दिसंबर 22, 2022)
आल इंडिया उलमा व् मशाइख बोर्ड, वर्ल्ड सूफी फोरम एवं चिश्ती फाउंडेशन द्वारा हज़रत ख़्वाजा ग़रीब नवाज़ की बारगाह अजमेर शरीफ में इंटरफेथ पीस कांफ्रेंस का आयोजन हुआ जिसमें जर्मनी के आध्यात्मिक ग्रुप के प्रतिनिथि मंडल, सूफीलैंड जर्मनी के शैख़ सूफी एशरफ आफंदी ने शिरकत की। उन्होंने कहा कि देश व दुनिया में नफरत से बचने के लिए एक दूसरे पर भरोसा करना ज़रूरी है। एक दूसरे पर विश्वास करने के लिए ख़्वाजा गरीब नवाज़ की शिक्षाओं को आमजन तक पहुँचाने व उसका अनुसरण कराने की ज़िम्मेदारी हम लोगों की है क्योंकि हम दुनियां में आध्यात्मिक के आधार पर शांति व सद्भाव का संदेश आम करना चाहते हैं। इसके लिए आध्यात्म की राह पर चलने वालों को एक मंच व एक स्वर से सद्भावना का संदेश देना ज़रूरी हो गया है।
आल इंडिया उलमा व मशाइख बोर्ड व वर्ल्ड सूफी फोरम के महासचिव एंव चिश्ती फॉउण्डेशन के चेयरमैन हाजी सय्यद सलमान चिश्ती ने कहा कि आल इंडिया उलमा व मशाइख बोर्ड का मिशन सकारात्मक विचारों को आम करना और आमजन को आध्यात्म की सही जानकारी देना है। उन्होंने आगे कहा कि सकारात्मक विचारों को प्रभावशाली बनाने के लिए आध्यात्म ही एक रास्ता है।
सर्वधर्म मैत्री संघ के प्रकाश जैन, फादर कॉस्मॉस शेखावत, पाठक जी महाराज एंव दिलीप सिंह छाबड़ा ने भी कांफ्रेंस की प्रशंसा करते हुए इस संबंध में आयोजकों का साथ देने का आश्वासन दिया। ब्रह्मा कुमारी योगिनी ने आत्मिक शांति से उत्पन्न होने वाले सकारात्मक विचार और उसके अच्छे परिणामों से अवगत कराते हुए आयोजकों के हर कार्यक्रम में भागीदार होने का आश्वासन दिया है।
बोर्ड के महासचिव हाजी सय्यद सलमान चिश्ती ने शिरकत करने वालों का आभार व्यक्त करते हुए इस तरह का आयोजन देश व दुनियां के बड़े मंचों पर कर आस्था आधारित संवाद के ज़रिए एक जुटता और सेवा कार्य में आमजन का सहयोग बढ़ाने का प्रयास किया जाएगा।
कांफ्रेंस में सय्यदज़ादगान अंजुमन के सदस्य सय्यद मुनव्वर चिश्ती भी उपस्थित थे। कांफ्रेंस का संचालन सय्यद इमरान चिश्ती ख्वाजागानी ने किया। कांफ्रेंस में शिरकत करने वालों ने इस दौरान ख़्वाजा गरीब नवाज़ की बारगाह में चादर व फूल पेश किए और शांति व सलामती की दुआ मांगी। इस अवसर पर इंदौर व मुंबई के क़व्वाल तारिक़ फैज़ और आफ़ताब क़ादरी ने सूफियाना क़व्वाली प्रस्तुत की।
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